स्वतंत्रता दिवस पर लालन कॉलेज वर्सेस लाल किला
आजाद भारत का
शायद पहला स्वतंत्रता दिवस होगा। जब राष्ट्र के लोग इस दिन मौके होने
वाले आयोजित समारोह में अधिक दिलचस्प लेंगे। इसका मुख्य कारण मौजूदा
प्रधानमंत्री और संभावित प्रधानमंत्री पद के दावेदार के बीच सीधी टक्कर।
एक हर बार की तरह लाल किले तो तिरंगा फरहाएंगे तो दूसरे भुज के लालन कॉलेज
से।
ऐसे में इलेक्ट्रोनिक मीडिया के कैमरे दोनों तरफ तोपों की
तरह तने रहेंगे। देश के प्रधानमंत्री होने के नाते मीडिया मनमोहन सिंह की
उपस्थिति वाले समारोह को नजरअंदाज नहीं कर सकता, वहीं दूसरी तरफ संभावित
प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के रूप में उभरकर सामने आ रहे नरेंद्र मोदी
को भी जनता सुनना चाहेगी, जो वैसे भी आजकल टेलीविजन टीआरपी के लिए एनर्जी
टॉनिक हैं।
गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वयं गुजरात के भुज में आयोजित युवाओं की एक सभा को संबोधित करते हुए कहा,
‘जब हम तिरंगा फहराएंगे तो संदेश लाल किला तक भी पहुंचेगा। राष्ट्र जानना
चाहेगा कि वहां क्या कहा गया और भुज में क्या कहा गया।’
इस नरेंद्र
मोदी की बात में कोई दो राय नहीं। देश की जनता बिल्कुल जानना चाहेगी,
लेकिन उससे भी ज्यादा उतावला होगा भारतीय इलेक्ट्रोनिक मीडिया। बस डर है
कहीं, नरेंद्र मोदी लाइव न हो जाए, और देश के प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का
भाषण अगले दिन आने वाले समाचार पत्रों में पढ़ने को मिले।
उधर, सीधे तौर पर प्रधानमंत्री का जिक्र न करते हुए मोदी ने कहा, ‘एक तरफ वादों
की झड़ी होगी तो दूसरी ओर किए गए काम का लेखा-जोखा होगा। एक तरफ निराशा
होगी तो दूसरी तरफ आशा होगी।’ आपको बता दें कि गुजरात में स्वतंत्रता दिवस का आधिकारिक
समारोह भुज में मनाया जाएगा जहां मोदी राष्ट्रीय ध्वज फहराएंगे।
आप
इसे संयोगवश कहें या जान बुझकर चुना गया स्थान, लेकिन 15 अगस्त को आयोजित
होने वाले इन दोनों समारोह को अगर कुछ जोड़ता है तो लाल। एक तरफ लाल किला,
दूसरी तरफ भुज का लालन कॉलेज। दोनों में लाल शब्द है। इन दिनों जगहों पर
तिरंगा लहराने वाले शख्सियतों के आगे प्रधानमंत्री शब्द भी जुड़ता है, एक
संभावित प्रधानमंत्री पद प्रत्याशी हैं तो दूसरे मौजूदा प्रधानमंत्री।
अब
देखना यह रहेगा कि स्वतंत्रता दिवस पर तिरंगा लहराने वाली दोनों
शख्सियतों में से अगले साल लाल किले पर तिरंगा कौन फहराता है ? क्या लालन
कॉलेज से नरेंद्र मोदी लाल किले तक पहुंच सकेंगे ? जिन्होंने पार्टी की
उन बाधाओं को तो पार कर लिया, जो उनके प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार बनने
के रास्ते में थीं, क्यूंकि पिछले दिनों एक टेलीविजन को दिए विशेष
साक्षात्कार में भाजपा के महासचिव राजीव प्रताप रूढ़ी ने साफ साफ कहा कि
जनता की आवाज सुनी जाएगी और अगस्त के अंत तक नरेंद्र मोदी को पीएम पद का
उम्मीदवार घोषित किया जाएगा। यह तो पहला साबूत है।
नरेंद्र मोदी पर मौसम साफ होने का दूसरा संकेत यूपीए के खिलाफ चार्जशीट के रूप में लॉन्च की अपनी वेबसाइट इंडिया 272 को करते हुए दिया। इस वेबसाइट पर गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी के अलावा कोई चेहरा नजर नहीं आ रहा है। इस वेबसाइट को लॉन्च तो भाजपा पार्टी ने किया, लेकिन वहां चेहरा केवल नरेंद्र मोदी का, भाजपा का यह कदम उस बात को चरितार्थ कर रहा है, जिसमें कहा गया था भाजपा एकमत है।
नरेंद्र मोदी पर मौसम साफ होने का दूसरा संकेत यूपीए के खिलाफ चार्जशीट के रूप में लॉन्च की अपनी वेबसाइट इंडिया 272 को करते हुए दिया। इस वेबसाइट पर गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी के अलावा कोई चेहरा नजर नहीं आ रहा है। इस वेबसाइट को लॉन्च तो भाजपा पार्टी ने किया, लेकिन वहां चेहरा केवल नरेंद्र मोदी का, भाजपा का यह कदम उस बात को चरितार्थ कर रहा है, जिसमें कहा गया था भाजपा एकमत है।
अब एक और सवाल के साथ आपसे अलविदा लेते हैं कि
क्या अगले साल होने वाले लोक सभा चुनावों के बाद आजाद भारत को आजाद भारत
में जन्मे किसी नागरिक को प्रधानमंत्री बनते देखने का मौका मिलेगा या पांच
साल और इंतजार करना होगा ?
NAMO ko Live sun sakenge to channel walon ke ham abhaari honge..
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